जरा हट कर
कहें राम रावण से...विशेष
सोमवार, 26 अक्टूबर 2020
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कहें राम रावण से...
सुरेन्द्र जैन,धरसींवा
कहें राम रावण से सुन,अंत तुम्हारा निश्चित है।
रावण बोला धरा आपकी,अंत न मेरा निश्चित है।।
राख बना दो भले मुझे,पर नाम न मिटना निश्चित है।
कहें राम रावण से सुन,अंत तुम्हारा निश्चित है।।
बुराई ग्रहण करेंगे सब,अच्छाई न मिलना निश्चित है।
अच्छाइयां जो ग्रहण करें,कुर्सी न मिलना निश्चित है।।
धरा तुम्हारी नाम हो मेरा,नाम न मिटना निश्चित है।
कहें राम रावण से सुन,अंत तुम्हारा निश्चित है।।
मर्यादा पुरषोत्तम हूँ,मर्यादा रहेंगी निश्चित है।
बोला रावण कुछ न रहेगा,कलयुग में यह निश्चित है।।
मरकर भी मैं जीवित हूँ,न मन से मारना निश्चित है।
कहें राम रावण से सुन,अंत तुम्हारा निश्चित है।।
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