ब्रह्माकुमारीज का आध्यात्मिक साप्ताहिक कोर्स, आप दिखने वाला शरीर नहीं, पर आप चैतन्य आत्मा हो... - fastnewsharpal.com
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ब्रह्माकुमारीज का आध्यात्मिक साप्ताहिक कोर्स, आप दिखने वाला शरीर नहीं, पर आप चैतन्य आत्मा हो...

 ब्रह्माकुमारीज का आध्यात्मिक साप्ताहिक कोर्स, आप दिखने वाली शरीर नहीं, पर आप चैतन्य आत्मा हो...





प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्व विद्यालय का संक्षिप्त परिचय ईश्वरीय ज्ञान और सहज राजपोग की शिक्षा से समस्त विश्व के मार्गदर्शन हेतु निराकार परमपिता शिव परमात्मा सन् 1937 में इस धरा पर अवतरित हुए और उन्होंने पिताश्री प्रजापिता ब्रह्मा को अपना साकार माध्यम बनाया । प्रजापिता ब्रह्मा द्वारा प्राप्त हुए ईश्वरीय ज्ञान से पवित्र एवं दिव्य जीवन बनाने वालों के नाम ही ' ब्रह्माकुमारियाँ एवं ब्रह्माकुमार ' हैं तथा कलियुगी , पतित , दुःखी विश्व को सतयुगी , पावन , सदा मुखी देवी स्वराज्य में परिवर्तन करने हेतु जिस विश्व विद्यालय की स्थापना हुई है , उसका नाम प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्व विद्यालय ' है । ईश्वरीय सेवा हेतु इस ईश्वरीय विश्व विद्यालय के 9000 से भी अधिक सेवाकेन्द्र एवं उप - सेवाकेन्द्र हैं जिनमें 300 आध्यात्मिक संग्रहालय भी सम्मिलित हैं । जो कि आध्यात्मिक ज्ञान के अभिलाषी आत्माओं के निमंत्रण पर ही खुले हुए हैं । इस ईश्वरीय विश्व विद्यालय में बिना किसी जात - पात , भाषा भेद के सर्व आत्माओं को ईश्वरीय ज्ञान एवं सहज राजयोग की शिक्षा निःशुल्क दी जाती है । . . .







               राजयोग

           विषय
ज्ञान.... समझ 
योग.... परमात्मा से आत्मिक सम्बन्ध 
धारण..... दैवीय गुण 
सेवा...... निःस्वार्थ 
        
      आत्मा के दिव्य गुण
मधुरता
सहनशीलता
धैर्यता
पवित्रता
निर्भयता
हर्षितमुखता
अन्तर्मुखता
नम्रता
       राजयोग से प्राप्ति
सहन शक्ति
सामने की शक्ति
परखने की शक्ति
निर्णय करने की शक्ति
सामना करने की शक्ति
सहयोग की शक्ति
विस्तार को संकीर्ण करने की शक्ति
समेटने की शक्ति


         Be Continue Next Day 

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