पसीना, जोश और जीत का संगम — गरियाबंद पुलिस वॉलीबॉल फाइनल - fastnewsharpal.com
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पसीना, जोश और जीत का संगम — गरियाबंद पुलिस वॉलीबॉल फाइनल

 पसीना, जोश और जीत का संगम — गरियाबंद पुलिस वॉलीबॉल फाइनल



E-30 पैंथर ने मैनपुर डिवीजन को हराया



आखिरी सेट में किया बाज़ी पर कब्ज़ा एसपी राखेचा के नेतृत्व में जवानों ने दिखाया विजयी दमखम


गरियाबंद

पुलिस जवानों में खेल भावना और टीम स्पिरिट को बढ़ावा देने के उद्देश्य से आयोजित गरियाबंद पुलिस वॉलीबॉल प्रतियोगिता सोमवार को अपने चरम पर पहुंची। रोमांचक फाइनल मुकाबले में E-30 पैंथर ने शानदार प्रदर्शन करते हुए मैनपुर डिवीजन को हराकर विजेता का ताज अपने नाम किया।





फाइनल मैच बेस्ट ऑफ 5 सेट के आधार पर खेला गया, जिसमें दोनों टीमों ने एक-दूसरे को कड़ी टक्कर दी। पहले दो सेट में E-30 पैंथर ने बढ़त बनाई, जबकि मैनपुर डिवीजन ने अगले दो सेट जीतकर मुकाबले को रोमांचक बना दिया। निर्णायक सेट में जबरदस्त संघर्ष के बाद E-30 पैंथर ने 15 अंकों के खेल में 2 अंकों से जीत हासिल कर खिताब पर कब्जा जमाया।


बारिश के कारण दो बार स्थगित हुआ था फाइनल


फाइनल मुकाबला पहले बारिश की वजह से दो बार टल गया था, जिससे खिलाड़ियों और दर्शकों में बेसब्री बढ़ गई थी। आखिरकार सोमवार को मुकाबला शुरू होते ही मैदान में जोश और रोमांच का माहौल छा गया। दर्शक दीर्घा में बैठे लोगों का उत्साह खिलाड़ियों के जोश से कम नहीं था।


टीमों के बीच रोमांचक टक्कर

कप्तान मनोज भगत की अगुवाई में E-30 पैंथर की टीम ने शानदार तालमेल और सटीक रणनीति के दम पर जीत दर्ज की, जबकि रवि सिन्हा के नेतृत्व में मैनपुर डिवीजन ने भी दमदार खेल दिखाते हुए मुकाबले को अंत तक जीवित रखा। हर रैली पर तालियों की गड़गड़ाहट और नारों से पूरा मैदान गूंजता रहा।


प्रतियोगिता में शामिल हुईं 9 टीमें

इस प्रतियोगिता में पुलिस विभाग की कुल 9 टीमें — वारियर, हंटर, तेजस, फाइटर, एसटीएफ, सीएफ, मैनपुर, नवागढ़ और E-30 पैंथर शामिल थीं। हर टीम ने अपने खेल और अनुशासन से प्रतियोगिता को यादगार बना दिया।


पुरस्कार वितरण समारोह में छाया उत्साह

विजेता E-30 पैंथर को ₹10,000 नगद पुरस्कार और सील्ड मैडल प्रदान किया गया। उपविजेता मैनपुर डिवीजन को ₹7,000 नगद व मैडल, जबकि तीसरे स्थान पर रही E-30 फाइटर को ₹5,000 नगद पुरस्कार मैडल और सील्ड दिया गया।


विशिष्ट अतिथि रहे मौजूद


कार्यक्रम में विशेष रूप से पहुंचे आर.आई. सनत ठाकुर, थाना प्रभारी ओमप्रकाश यादव, कान्हा क्लब के कोच जी.डी. उपासने, पार्षद छगन यादव, विजय सिन्हा, ललित साहू, इमरान मेमन, प्रहलाद यादव और कार्तिक यादव ने खिलाड़ियों का उत्साहवर्धन किया और उनकी हौसला अफजाई की।


एसपी निखिल राखेचा की पहल बनी प्रेरणा


इस प्रतियोगिता की शुरुआत पुलिस अधीक्षक निखिल राखेचा की पहल पर हुई थी। खेलों के प्रति उनकी रुचि और फिट पुलिस फोर्स की सोच ने पूरे जिले में नई ऊर्जा भर दी है। उन्होंने कहा, खेल न केवल शारीरिक फिटनेस का माध्यम है, बल्कि यह अनुशासन, एकता और टीम भावना को भी मजबूत करता है। हमारे जवानों में यही जज़्बा गरियाबंद पुलिस की असली ताकत है।”


आर.आई. सनंत ठाकुर ने कहा —

“जवानों का यह उत्साह वाकई प्रेरणादायक है। ऐसे आयोजन हर जिले में होने चाहिए ताकि पुलिस बल ऊर्जावान और एकजुट बने।”

उन्होंने आगे कहा कि इस तरह के खेल न केवल तनाव दूर करते हैं बल्कि अनुशासन और आपसी समन्वय को भी मजबूत करते हैं। उन्होंने विजेता और उपविजेता टीमों को शानदार प्रदर्शन के लिए बधाई दी।


थाना प्रभारी ओमप्रकाश यादव ने कहा —

“आज खिलाड़ियों ने साबित कर दिया कि पुलिस सिर्फ कानून-व्यवस्था की नहीं, खेल मैदान की भी धुरी है।”

उन्होंने कहा कि जवानों का यह प्रदर्शन इस बात का प्रतीक है कि फिटनेस और टीम वर्क के बल पर हर चुनौती को जीता जा सकता है। उन्होंने एसपी निखिल राखेचा की इस सराहनीय पहल के लिए भी धन्यवाद दिया।


कान्हा क्लब के कोच जी.डी. उपासने ने कहा —

“जवानों में जो जोश और तालमेल दिखा, वह किसी पेशेवर टीम से कम नहीं। गरियाबंद में खेल संस्कृति तेजी से विकसित हो रही है।”उन्होंने कहा कि अगर ऐसे ही प्रशिक्षण और प्रतियोगिताएं नियमित रूप से होती रहीं, तो आने वाले समय में पुलिस बल से कई उत्कृष्ट खिलाड़ी राज्य और राष्ट्रीय स्तर पर अपनी पहचान बनाएंगे।


कामँटेटर इमरान मेमन ने कहा  — “ऐसे आयोजन से पुलिस और जनता के बीच नजदीकी बढ़ती है। मैदान में जवानों को खेलते देखना गर्व की बात है।” गरियाबंद पुलिस वॉलीबॉल प्रतियोगिता ने न सिर्फ एक शानदार स्पोर्ट्स इवेंट का रूप लिया, बल्कि यह संदेश भी दिया —

“जब पुलिस खेलती है, तो जीत सिर्फ ट्रॉफी की नहीं, टीम भावना की होती है।”

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