ब्रह्माकुमारीज संस्थान गुंडरदेही(बालोद) द्वारा 75 वे आजादी के अमृत महोत्सव से स्वर्णिम भारत की ओर कार्यक्रम आयोजित
ब्रह्माकुमारीज संस्थान गुंडरदेही(बालोद) द्वारा 75 वे आजादी के अमृत महोत्सव से स्वर्णिम भारत की ओर कार्यक्रम आयोजित
गुंडरदेही(बालोद)
ब्रह्माकुमारीज संस्थान गुंडरदेही(बालोद)द्वारा 75 वे आजादी के अमृत महोत्सव से स्वर्णिम भारत की ओर कार्यक्रम आयोजित किए गए, जिसका उद्घाटन कार्यक्रम अंचल के विधायक एवं ब्रह्माकुमारीज वरिष्ठ भाई बहनों द्वारा विधिवत किया गया।,,,,,,
कार्यक्रम में सर्वप्रथम गरियाबंद सेवाकेंद्र की मुख्य संचालिका ब्रह्माकुमारी बिंदु दीदी ने कहा कि एक समय था, जब हर ग्राम गोकुल ग्राम कहलाता था। जहां शेर और गाय एक घाट पर पानी पीते थे और उस गोकुल ग्राम का ला लीडर श्री कृष्ण था। कहां गई वह सभ्यता, वह संस्कृति, चांद ना बदला, सूरज ना बदला, जमीं वही, आसमान वहीं,पर इंसान क्यों बदल गए। आज जरूरत है नैतिक मूल्य को अपनाकर स्वयं को एवं समाज को बदलना।
वही दुर्ग सेवाकेंद्र की मुख्य संचालिका आदरणीया ब्रम्हाकुमारी शोभा दीदी ने कहा, संस्था का उद्देश्य है घर-घर को स्वर्ग बनाना, जमीं से लेकर आसमान को छूना अर्थात गांव से लेकर शहरों तक चहुमुखीं विकास करना और यह कार्य स्व स्थिति एवं परमात्मा पर विश्वास से संभव है।......
जोन इंदौर से पधारे आदरणीय भ्राता ब्रह्माकुमार नारायण भाई जी, जो कि धार्मिक प्रभाग की क्षेत्रीय संयोजक है उन्होंने कहा कि आजादी का अर्थ है आज, आ+ज का मतलब बताया। आपने हमें बताया कि लोग वर्तमान समय भूत और भविष्य की चिंता में जिंदगी जी रहे हैं जो कि परतंत्रता को सिद्ध करती है। आजादी का अर्थ है वर्तमान में जीना जो अध्यात्म से ही संभव है।,,,,,
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि अंचल के लोकप्रिय विधायक आदरणीय श्री कुंवर सिंह निषाद जी ने कहा कि, अपने-अपने विचार रखने का अधिकार सबको है,यही सच्ची स्वतंत्रता है। आगे कहा कि भारत ही एक ऐसा देश है जिसे मां की संज्ञा दी गई है, ,"भारत मां"। ठीक उसी प्रकार से हमारा यह छत्तीसगढ़ प्रांत भी एक ऐसा प्रांत है जिसे "छत्तीसगढ़ महतारी" की संज्ञा दी गई है। बड़े ही गर्व की बात है कि हमें ऐसे देश भारत और ऐसा प्रांत छत्तीसगढ़ की संतान होने का गौरव प्राप्त हुआ है।,,,,,
विशेष अतिथि पूर्व नगर पंचायत अध्यक्ष गुंडरदेही आदरणीय भ्राता के. के. राजू चंद्राकर जी ने कहा कि, नि:संदेह यह संस्था अच्छे कार्य कर रही है और जीवन को सार्थक बनाना हो तो इस संस्था से जुड़कर उनकी शिक्षाओं को धारण करें। यह संस्था सेवा के लिए ही बनी है और और नि:स्वार्थ भाव से सेवा करती है। प्राप्ति की कोई इच्छा नहीं रखती है। आत्मा को परमात्मा से कैसे जोड़ें इसकी शिक्षा दी जाती है।
नवापारा-राजिम की मुख्य संचालिका आदरणीया ब्रह्माकुमारी पुष्पा दीदी जी ने अपनी अध्यक्षीय भाषण में कहा कि गुंडरदेही सेवा का विस्तार हुआ इसमें हमारी ब्रम्हाकुमारी शोभा दीदी जी का शुभ संकल्प रहा है। जो यहां ज्ञान की बीज डाली । आगे कहा कि संस्था को कुछ नहीं चाहिए क्योंकि दाता स्वयं परमात्मा भोलानाथ है और जहां ऐसे पिता परमात्मा का हाथ और साथ हो तो कोई चीज की कमी नहीं होती । जीवन को संपन्नतामय बनाना हो तो सर्वशक्तिमान परमात्मा से अपना संबंध जोड़े और अपने जीवन को धन्य-धन्य बनाएं।
विशेष अतिथि नगर पंचायत अध्यक्ष आदरणीया श्रीमती रानू हेमंत सोनकर जी ने कहा कि हमारा गौरव है कि हमारे गुंडरदेही नगर में ऐसी संस्था संचालित है। यहां की शिक्षाओं को यदि हम अपने जीवन में धारण करें तो हमारा जीवन भी धन्य और सुखमय हो सकता है और आने वाला समय भी सुखमय हो सकता है।
वही कार्यक्रम को सफल बनाने में संस्था से जुड़े भाई बहिनो के साथ साथ नगर के गणमान्य लोगों का सराहनीय योगदान रहा।