निरंतर अवैध खनिज उत्खनन-परिवहन में संलग्न होने पर होगी कड़ी कार्रवाई, सिविल न्यायालय में दर्ज होगा प्रकरण 05 वर्ष तक का कारावास या 5 लाख रूपये तक हो सकेगा जुर्माना
निरंतर अवैध खनिज उत्खनन-परिवहन में संलग्न होने पर होगी कड़ी कार्रवाई, सिविल न्यायालय में दर्ज होगा प्रकरण
05 वर्ष तक का कारावास या 5 लाख रूपये तक हो सकेगा जुर्माना
कलेक्टर डॉ भुरे के निर्देश में की जा रही हैं कार्रवाई, अब तक 375 प्रकरण दर्ज
रायपुर
कलेक्टर डॉ सर्वेश्वर नरेन्द्र भुरे के निर्देशानुसार जिले में अवैध खनन, उत्खनन और परिवहन के विरूद्ध निरंतर कार्रवाई की जा रही है। इसके लिए स्थानीय रूप में उड़नदस्ते का गठन किया गया है। साथ ही अवैध उत्खनन परिवहन पर प्रभावी नियंत्रण के लिए उपाय किए जा रहे हैं। शासन के निर्देशानुसार अब कोई खनिज परिवहन करने वाला वाहन निरंतर उक्त कार्यवाही में संलग्न रहता है, तथा दूसरी बार भी पकड़ा जाता है तो उसके विरूद्ध खान और खनिज (विकास और विनियमन) अधिनियम 1957 की धारा 21 (1) के तहत प्रकरण सिविल न्यायालय में दर्ज किए जाएंगे। उक्त धारा में 05 वर्ष तक का कारावास या 5 लाख रूपये तक जुर्माना हो सकेगा।
खनिज विभाग के उप संचालक श्री गोलघाटे द्वारा बताया गया कि वित्तीय वर्ष 2023-24 में माह अप्रैल 23 से अगस्त 23 तक कुल 375 प्रकरण दर्ज किए गए है। जिसमें अवैध खनिज उत्खनन के 51 प्रकरण एवं अवैध खनिज प्रकरण के 324 प्रकरण शामिल हैं। साथ ही एक करोड़ ग्यारह लाख तिरालिस हजार छः सौ बीस रूपये अर्थदण्ड़ खनिज मद में वसूल कर जमा करायी गई है।
उप संचालक (खनिज प्रशासन) रायपुर श्री किशोर कुुमार गोलघाटे द्वारा समस्त खनिज से संबंधित व्यवसायी एवं ट्रांसपोटर्स से अपील की गई है कि कृपया अवैध उत्खनन या अवैध खनिज परिवहन न किया जाए तथा न करने दें एवं असुविधा से बचें। उल्लेखनीय है कि कलेक्टर डॉ भुरे द्वारा समस्त अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व), तहसीलदार, पुलिस एवं परिवहन विभाग, पर्यावरण विभाग को भी अवैध उत्खनन एवं परिवहन के विरूद्ध निरंतर जांच करने एवं कार्यवाही करने के निर्देश दिए गए है।