उपार्जन केन्द्रों में हो पर्याप्त बारदाने की व्यवस्था - कलेक्टर कलेक्टर ने की समय-सीमा प्रकरणों की समीक्षा
जिले के उपार्जन केन्द्रों में धान खरीदी हेतु बारदाने की पर्याप्त व्यवस्था हो। बारदाने के अभाव में खरीदी प्रभावित न होने पाए, इस पर विशेष ध्यान रखे अधिकारी। संबंधित क्षेत्र के एसडीएम और खाद्य विभाग के अधिकारी पीडीएस और मिलर्स से पर्याप्त बारदाना लेना सुनिश्चित करें। बारदाना का सत्यापन भी हो। ज्यादा खराब बारदाना नहीं लिया जाए। उपार्जन केन्द्रों में बारदाना उपलब्धता हेतु संबंधित एसडीएम जिम्मेदार होंगे। कलेक्टर श्री निलेशकुमार क्षीरसागर ने आज अधिकारियों की समय-सीमा प्रकरणों की समीक्षा बैठक में अधिकारियों को उक्त आशय के निर्देश दिए। उन्होंने विभागवार प्रकरणों की समीक्षा करते हुए अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। अनुविभाग और विकासखण्ड स्तर के अधिकारी भी वीडियो कान्फ्रेसिंग के जरिए समीक्षा बैठक से जुड़े थे। कलेक्टर ने कहा कि ऐसे सहकारी समिति जहां रकबा समर्पण नहीं किया गया है, उस समिति के समिति प्रबंधक को हटाने के कार्यवाही की जाए।
इसी प्रकार अति संवेदनशील धान उपार्जन केन्द्रों के डाटा
एन्ट्री आॅपरेटरों को भी बदलने की कार्यवाही की जाए। धान खरीदी हेतु जिले
के सीमावर्ती क्षेत्रों में बनाये गये चेकपोस्टों में पुलिस के अलावा कृषि
और राजस्व विभाग के मैदानी अमलों की भी ड्यूटी लगाई जाए। बड़े व्यापारी/धान
कोचियो द्वारा कराये गये धान संग्रहण की जांच किया जाए। कलेक्टर ने कहा कि
जिला स्तर के नोडल अधिकारी उपार्जन केन्द्रों के भ्रमण के दौरान बारदानों
की उपलब्धता के अलावा केन्द्र में उपलब्ध सभी पंजियों, नमी मापी यंत्र का
विशेष रूप से अवलोकन करे। साथ ही उपार्जन केन्द्रों में बनाई गई स्टेकिंग
में धान बोरियों की संख्या की गणना भी करें। कलेक्टर ने कहा कि मैनपुर और
देवभोग क्षेत्र के उपार्जन केन्द्रों में मक्का खरीदी भी किया जाना है।
उन्होंने संबंधित क्षेत्र के एसडीएम को समिति प्रबंधकों की बैठक लेकर मक्का
खरीदी में आ रही परेशानियों की जानकारी लेकर कलेक्टर को अवगत कराने कहा।
कलेक्टर ने अधिकारियों से कहा कि शासन की प्राथमिकता वाली योजनाओं पर सभी
विभाग को विशेष ध्यान देना है। जिले के नगरीय निकाय एवं सभी विकासखण्डों
में अंगेजी माध्यम में स्कूल प्रारंभ किया जाना है। जिला शिक्षा अधिकारी
स्थान चयनित कर जिला पंचायत के सीईओ को अवगत कराना सुनिश्चित करे। उन्होंने
कहा कि जिले में हाॅट-बाजार क्लिनिक का बेहतर ढंग से संचालन हो। सभी
एसडीएम राजस्व प्रकरणों के निराकरण में ध्यान देवे। डायवर्सन, सीमांकन,
नामांतरण, बटवारा, भू-अर्जन के प्रकरण समय पर निराकृत हो। एसडीएम संबंधित
क्षेत्र के हल्का पटवारियों के छोटी-छोटी समस्याओं का निराकरण सुनिश्चित
करें। इसी प्रकार जिला शिक्षा अधिकारी शिक्षकों के सेवा पुस्तिका संधारण पर
ध्यान देवे। रेत एवं मुरूम के अवैध उत्खनन एवं परिवहन पर कड़ी कार्यवाही
करे। कलेक्टर ने पीडीएस दुकानों के युक्तियुक्तकरण की समीक्षा करते हुए
ग्रामीण क्षेत्र के पीडीएस दुकान का युक्तियुक्तकरण कार्य शीघ्र पूर्ण कर
लेने के निर्देश दिए। कलेक्टर ने जिला मुख्यालय के अनुरूप विभिन्न विभागों
के कार्यालयों एवं परिसर की साफ-सफाई पर ध्यान देने संबंधित विभाग के
अधिकारियों को निर्देशित किया। बैठक में सभी एसडीएम को संबंधित क्षेत्र के
वन अधिकार पत्रक के प्रकरण के संबंध में बैठक आयोजित कर स्वीकृति हेतु जिला
स्तरीय समिति को प्रस्तुत करने के भी निर्देश दिये गये। बैठक में जिला
पंचायत सीईओ श्री चन्द्रकांत वर्मा, वनमण्डलाधिकारी श्री मयंक अग्रवाल,
एडीएम श्री जे.आर. चौरसिया , डिप्टी कलेक्टर श्रीमती ऋषा ठाकुर सहित समस्त विभाग के अधिकारी उपस्थित थे।