"शिव पूजा एवं स्तुति संग्रह" पुस्तक का विमोचन
"शिव पूजा एवं स्तुति संग्रह" पुस्तक का विमोचन
आरंग
भगवान श्रीभोलेनाथ की प्रेरणा से अलप समय के प्रयास से ही "शिव पूजा एवं स्तुति संग्रह" पुस्तक का विमोचन श्रावणसोमवार को वैदिक मंत्रोच्चार के साथ किया गया।पुस्तक का वितरण मन्दिरो में व उपयोगितानुसार किया जा रहा है। इस आशय की जानकारी शिवभक्त डॉ तेजराम जलक्षत्री संकलनकर्ता ने दी। पुस्तक के प्रथम पेज में एक निवेदन और एक परिचय भी है।इनमें प्रमुख आठ बाते व आरंग नगर की संक्षिप्त जानकारी के साथ श्री बागेश्वरनाथ मन्दिर आरंग का भी वर्णन है। मन्दिर के गर्भगृह में स्थापित शिवलिंग में सूर्यदेव की प्रथम किरण प्रवेश करती है यह अद्भुत दृश्य है।
सनकलकर्ता डॉ जलक्षत्री ने बताया कि शिव पूजन पुस्तक के प्रकाशन में प्रमुख धार्मिक पुस्तक के महत्वपूर्ण व गोपनीय विषय को संकलित कर समाहित किया गया है। शिवजी के प्रेरणा व स्वयं के निधि से 100 पेज की "शिवपूजा एवं स्तुति संग्रह" पुस्तक में 40 विषय वस्तु को शामिल किया गया है। शिवपूजा पुस्तक में षडक्षर और पंचाक्षर मन्त्र के महत्व को बताया गया है।पांच प्रकार के पूजा का भी वर्णन है।जिसमे मानस पूजा का विशेष स्थान है।पुस्तक में शिवरात्रि व्रत एवं कथा का वर्णन के साथ शिवपूजन विधि को विस्तार के साथ संकलित है। इसमें श्री गणेश-गौरी स्मरण के साथ ही नन्दीश्वर पूजन,वीरभद्र,कार्तिकेय,कुबेर,कीर्तिमुख व सर्पपूजन सम्मिलित है।
शिव पूजन पुस्तक में अष्टोत्तरशतशिवनाम पूजा,त्रिभुवनदेव की आरती,पुष्पांजलि,क्षमाप्रार्थना के साथ शिव प्रातः स्मरण व द्वादशज्योतिर्लिंगम स्मरण है।इसके अतिरिक्त महामृत्युंजय मंत्र,शिवतांडव इस्तोत्रं के साथ शिवजी के विभिन्न नामो में शंभु स्तुति,महाकाल,विश्वनाथ,उमामहेश्वर,शिव,नटराज स्तुति सम्मिलित है। भक्तो के विभिन्न कष्ट-दुख व समस्या निवारण हेतु
श्री रुद्राष्टकम,बिलवाष्टकम,कलभैरवाष्टकम,शिवष्टकम,चंद्रशेखराष्टकम,भवन्यष्टकम के साथ देव अपराध क्षमापन स्तोत्रम सम्मिलित है।
संकलनकर्ता डॉ जलक्षत्री ने बताया कि "शिव पूजा एवं स्तुति संग्रह" के द्वितीय संस्करण के प्रकाशन भी प्रस्तावित है।