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💠 *Aaj_Ka_Vichar*💠
🎋 *..20-07-2021*..🎋
✍🏻यदि आपके मार्ग में कोई विघ्न आये तो घबराना छोड इसे दूर करने का प्रयास करते रहिए।
💐 *Brahma Kumaris* 💐
🌷 *σм ѕнαитι*🌷
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💥 *विचार परिवर्तन*💥
✍🏻शस्त्र केवल शरीर को घायल कर सकते है, किन्तु शब्द आत्मा को भी घायल कर देते है, कोशिश करें अच्छा बोलें अच्छा सुनें अच्छा व्यवहार करें।
🌹 *σм ѕнαитι.*
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🙏🏻🙏🏻 आत्मिक बंधु🙏🏻🙏🏻🙏🏻
अपने दिल को बता दीजिए कि भगवान धरा पर आ चुके हैं.. हमें पतित भ्रष्टाचारी मनुष्य आत्मा से पावन श्रेष्ठ आचार्य देवात्मा बनाने... इस पतित कलयुगी सृष्टि को पावन सतयुगी सृष्टि बनाने..... मनुष्य को देवता बनाना और नर्क को स्वर्ग बनाना किसी मनुष्य आत्मा के बस की बात नहीं इसीलिए भगवान को धरा पर अवतरित होना पड़ता है श्रीमद भगवत गीता में कहा भी है ना यदा यदा हि धर्मस्य ग्लानिर्भवति भारत..... जब धर्म की अति ग्लानि होगी मैं धरा पर अवतरित होउंगा.... अभी वही धर्म गलानी का समय चल रहा है.... भगवान हमें हमारी भक्ति का फल देने धरा पर आ चुके हैं..... आप भी अपना भाग्य बना लीजिए
🙏🏻🙏🏻 ओम शांति
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ओम शांति
*केवल मनुष्य ही एक मात्र ऐसा प्राणी है, जिसका व्यक्तित्व निर्माण प्रकृत्ति से ज्यादा उसकी स्वयं की प्रवृत्ति पर निर्भर होता। मनुष्य अपने विचारों से निर्मित एक प्राणी है, वह जैसा सोचता है वैसा बन जाता है। मनुष्य और अन्य प्राणियों के बीच का जो प्रमुख भेद है, वह ये कि मनुष्य के सिवा कोई और प्राणी श्रेष्ठ विचारों द्वारा एक श्रेष्ठ जीवन का निर्माण नहीं कर पाता है। वो अच्छा सोचकर, अच्छे विचारों के आश्रय से अपने जीवन को अच्छा नहीं बना सकता है। प्रकृति ने जैसा उसका निर्माण कर दिया, कर दिया। अब उसमें सुधरने की कोई गुंजाइश बाकी नहीं रह जाती है।। मगर एक मनुष्य में जीवन के अंतिम क्षणों तक जीवन परिवर्तन के द्वार सदा खुले रहते हैं। वह अपने जीवन को अपने हिसाब से उत्कृष्ट या निकृष्ट बना सकने में समर्थ होता है। पशु के जीवन में पशु से पशुपतिनाथ बनने की संभावना नहीं होती मगर एक मनुष्य के जीवन में नर से नारायण बनने की प्रबल संभावना होती है। मनुष्य जैसा खाता है, जैसा देखता है, जैसा सुनता है, जैसा बोलता है और जैसा सोचता है, फिर उसी के अनुरूप वो अपने व्यक्तित्व का निर्माण भी कर लेता है। अगर उस प्रभु ने कृपा करके आपको मनुष्य बनाया है तो फिर क्यों न श्रेष्ठ को सोचकर, श्रेष्ठ को चुनकर, श्रेष्ठ पथ का अनुगमन करके श्रेष्ठ व्यक्तित्व का निर्माण करते हुए अपने जीवन को श्रेष्ठ बनाया जाए।।*
*ओम शांति*
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अनमोल वचनः
कच्चे कान,शक्की नजर और कमज़ोर मन मनुष्य को... अच्छी खुशहाली के बीच भी दुःख का ही अनुभव कराते रहते हैं !!
🙏ओम् शांति🙏
🌸आपका दिन शुभ हो 🌸
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💧 *_आज का मीठा मोती_*💧
_*20 जुलाई:-*_ विशेष आत्मा बनना है तो हमारा हर कर्म विशेष हो।
🙏🙏 *_ओम शान्ति_*🙏🙏
🌹🌻 *_ब्रह्माकुमारीज़_*🌻🌹
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🌸🌸 अमृतवेला योगाभ्यास 🌸🌸
मैं आत्मा ज्योति इस अज्ञान अंधकार की दुनिया को छोड़... लाल प्रकाश की दुनिया में महा ज्योति के सम्मुख बैठ जाती हूँ... महाज्योति शिवबाबा से निकलती रंग-बिरंगी किरणें मुझ आत्मा पर पड़ती जा रही हैं... इन इंद्रधनुषी किरणों से मुझ आत्मा में एक-एक गुण समाता जा रहा है... मैं आत्मा सर्वशक्तिमान की किरणों से स्वयं में शक्तियां भर रही हूँ।
मुझ आत्मा के जन्मों-जन्मों के विकार खत्म होते जा रहे हैं... क्रोध, ईर्ष्या, घृणा के संस्कार मिटते जा रहे हैं... मुझ आत्मा में प्रेम, दया, रहम के भाव जागृत होते जा रहे हैं... मुझ आत्मा में स्नेह की शीतलता भरती जा रही है... मैं आत्मा स्नेहीमूर्त बनती जा रही हूँ।
मुझ आत्मा का विनाशी संबंधों का मोह समाप्त होता जा रहा है... मुझ आत्मा में सर्व के प्रति अविनाशी स्नेह की भावना समाती जा रही है... रूहानी प्यार जागृत हो रहा है... मुझ आत्मा की दृष्टि, वृति और कृति में स्नेह समाता जा रहा हैं... प्यारे बाबा मुझ आत्मा की बहुत प्यार से पालना कर रहे हैं... शिक्षा दे रहे हैं... मुक्ति, जीवन-मुक्ति का वर्सा दे रहे हैं... मैं आत्मा भी बाप समान सर्व की स्नेह से पालना कर रही हूँ।
मैं आत्मा स्नेही बन सर्व को परमात्म-- स्नेही बनाने का कार्य कर रही हूँ... अब मैं आत्मा हर समय अपने स्नेह के शीतल स्वरुप में स्थित रहती हूँ... अपने स्नेह की सीरत और व्यवहार से स्नेह की वर्षा करती जा रही हूँ... अब मैं आत्मा हर सम्बन्ध सम्पर्क में आने वाली आत्मा से... हर परिस्थिति में स्नेहपूर्ण व्यवहार करती हूँ।
चाहे व्यक्ति, परिस्थिति, माया कितना भी विकराल ज्वाला रूप धारण करके आए तो भी मैं आत्मा अपने स्नेह की शीतलता द्वारा उनको परिवर्तित कर देती हूँ... इससे सृष्टि स्नेहमयी बनती जा रही है।
मैं आत्मा वरदाता बाप के सर्व वरदानों से भरपूर होकर मास्टर वरदाता बनती जा रही हूँ... अब मैं आत्मा अपने स्नेह के शीतल स्वरूप द्वारा विकराल ज्वाला रूप को भी शांत करने वाली स्नेहमयी ,सुख शान्ति दायिनी अवस्था का अनुभव कर रही हूँ...मैं स्नेह स्वरूप आत्मा हूँ---सर्व का कल्याण करने वाली वरदानी आत्मा हूं।
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🙏 *ॐ शांति* 🙏
जीवन में कभी किसी का *बुरा* न करो, हमेशा अच्छे *कर्म* करो... क्योंकि *परछाई* साथ छोड़ सकती है... लेकिन *कर्म* कभी पीछा नहीं छोड़ते।
🌸 सुप्रभात...
💐💐 आपका दिन शुभ हो... 💐💐
♦️♦️♦️ रात्रि कहांनी ♦️♦️♦️
👉 परमेश्वर की गोद 🏵️
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_💙एक व्यक्ति बहुत नास्तिक था... उसको भगवान पर विश्वास नहीं था...एक बार उसके साथ दुर्घटना घटित हुई.. वो रोड पर पड़ा पड़ा सब की ओर कातर निगाहों से मदद के लिए देख रहा था,पर कलियुग का इंसान - किसी इंसान की मदद जल्दी नहीं करता,मालूम नहीं क्यों, वो यही सोच कर थक गया... तभी उसके नास्तिक मन ने अनमने मन से प्रभु को गुहार लगाई...उसी समय एक ठेलेवाला वहां से गुजरा उसने उसको गोद में उठाया और चिकित्सा हेतु ले गया उसने उनके परिवार वालो को फ़ोन किया और अस्पताल बुलाया सभी आये उस व्यक्ति को बहुत धन्यवाद दिया...और उसके घर का पता भी लिखवा लिया जब यह ठीक हो जायेगा तो आप से मिलने आयेंगे !_
_▪️वो सज्जन सही हो गए... कुछ दिन बाद वो अपने परिवार के साथ उस व्यक्ति से मिलने का इरादा बनाते है और निकल पड़ते है मिलने |वो बाँके बिहारी का नाम पूछते हुए उस पते पर जाते है उनको वहा पर प्रभु का मंदिर मिलता है, वो अचंभित से उस भवन को देखते है, और उसके अन्दर चले जाते है ! तभी भी वहा पर पुजारी से नाम लेकर पूछते है की यह बाँके बिहारी कहा मिलेगा -पुजारी हाथ जोड़ मूर्ति की ओर इशारा कर के कहता है की यहाँ यही एक बाँके बिहारी है ! खैर वो मंदिर से लौटने लगते है तो उनकी निगाह एक बोर्ड पर पड़ती है उसमे एक वाक्य लिखा दिखता है - कि इंसान ही इंसान के काम आता है, उस से प्रेम करते रहो मै तो तुम्हे स्वयं मिल जाऊंगा..._
*♦️🔅ओम शान्ति 🔅♦️*
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